भाजपा उम्मीदवार मुकेश शर्मा गुरुग्राम में एक मजबूत दावेदार माने जा रहे हैं। भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने उन पर विश्वास जताते हुए उन्हें टिकट दिया है। शर्मा की जमीनी पकड़ और पार्टी की राज्य और केंद्र सरकार की नीतियों पर आधारित चुनाव प्रचार उनके अभियान की प्रमुख ताकत मानी जा रही है। वे अपनी चुनावी रैलियों में क्षेत्र के विकास और बुनियादी सुविधाओं में सुधार का वादा कर रहे हैं।
भाजपा के मुकेश शर्मा के अलावा कांग्रेस, आम आदमी पार्टी (AAP), और निर्दलीय उम्मीदवारों ने भी गुरुग्राम सीट पर अपनी दावेदारी पेश की है। कांग्रेस ने भी एक प्रभावशाली उम्मीदवार उतारा है, जबकि आम आदमी पार्टी नए चेहरों और जनता से जुड़े मुद्दों के साथ चुनाव मैदान में उतर रही है। निर्दलीय उम्मीदवार भी अपनी रणनीति के तहत वोटरों को लुभाने की कोशिश कर रहे हैं।
गुरुग्राम की सीट पर इस बार का चुनाव दिलचस्प होने वाला है। राजनीतिक दलों के उम्मीदवारों के नामांकन के बाद चुनावी माहौल और गरमा जाएगा। हर उम्मीदवार अपनी रणनीति के तहत मतदाताओं को लुभाने के लिए प्रचार-प्रसार में जुटे हुए हैं। विकास, बुनियादी सुविधाएं, रोजगार और जनकल्याण जैसे मुद्दे चुनावी चर्चा के केंद्र में रहेंगे।
गुरुग्राम भाजपा के लिए एक महत्वपूर्ण सीट मानी जाती है, लेकिन विपक्षी दलों ने भी इसे जीतने के लिए पूरी ताकत लगा दी है। मुकेश शर्मा की उम्मीदवारी के बावजूद, चुनावी मुकाबला कड़ा होता जा रहा है। जनता का रुख आने वाले दिनों में अधिक स्पष्ट होगा जब नामांकन प्रक्रिया पूरी हो जाएगी और चुनाव प्रचार अपने चरम पर पहुंचेगा।