- डीसी निशांत कुमार यादव ने दी जानकारी, उप राष्ट्रीय टीकाकरण दिवस के तहत 28, 29 व 30 मई को बच्चों को दी जाएगी पोलियो की खुराक
- रविवार को बूथ पर व अगले दो दिन घर-घर पिलाई जाएगी दवा, जिला में तीन दिनों में तीन लाख 78 हजार 346 बच्चों को दवा पिलाने का रखा गया लक्ष्य
गुरुग्राम:आजादी के अमृत महोत्सव श्रृंखला के तहत गुरुग्राम जिला में 28 मई रविवार से उप-राष्ट्रीय टीकाकरण दिवस (एसएनआईडी) दिवस का शुभारंभ होगा। तीन दिवसीय कार्यक्रम के पहले दिन जिला में स्वास्थ्य विभाग द्वारा 1557 बूथों पर शून्य से पांच वर्ष आयु के बच्चों को पोलियो की खुराक दी जाएगी। जबकि अगले दो दिन 29 व 30 मई को स्वास्थ्य कर्मी घर-घर जाकर बच्चों को यह खुराक पिलाएंगे।
डीसी निशांत कुमार यादव ने जानकारी देते हुए बताया कि लगातार कड़ी मेहनत के कारण देश और हरियाणा पोलियो मुक्त बना हुआ है। लेकिन यह उल्लेख करना उचित होगा कि दुनिया के कई हिस्सों में अब भी पोलियो के मामले सामने आए है। इसलिए 28 मई को एसएनआईडी के दौरान 0-5 वर्ष के सभी पात्र लाभार्थियों को कवर करना आवश्यक है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भारत को वर्ष 2014 में पोलियो मुक्त देश घोषित किया था। ऐसे में हम सभी की यह नैतिक जिम्मेदारी बनती है कि हम पूरी लगन व प्रतिबद्धता के साथ इस अभियान में अपना शत प्रतिशत योगदान दें। उन्होंने जिला वासियों से अपील करते हुए कहा कि आप सभी इस अभियान में शामिल होकर शून्य से पांच वर्ष की आयु के अपने व अपने परिचितों के बच्चों को पोलियों ड्रॉप्स जरूर पिलवाएं।
जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डा. जयप्रकाश ने जानकारी देते हुए बताया कि स्वास्थ्य विभाग की तरफ से शून्य से 5 वर्ष तक के तीन लाख 78 हजार 346 बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए स्वास्थ्य विभाग की तरफ से 1557 बूथों का गठन किया गया है, 33 ट्रांजिट टीम, 162 मोबाइल टीम की ड्यूटी लगाई गई है। विभाग की तरफ से स्वास्थ्य केंद्रों के आसपास संवेदनशील क्षेत्रों को भी चिन्हित किया गया है, जहां पर स्वास्थ्य विभाग का विशेष फोकस रहेगा। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग के 2704 कर्मचारी घर-घर जाकर बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाने का काम करेंगे। इसके साथ ही जिला के विभिन्न चौक चौराहों व बाजारों आदि जगहों पर प्रशिक्षित टीका कर्मियों द्वारा वहां से गुजरने वाले सभी लक्षित बच्चों को पोलियो की खुराक दी जाएगी।