भिवानी,28 जुलाई। आंगनवाड़ी केंद्रों को नियंत्रित करने वाला महिला एवं बाल कल्याण विभाग अधिकारियों की मनमानी का अड्डा बना हुआ है। विभाग के कर्मचारियों द्वारा आंगनवाड़ी केंद्रोंं की नियमित विजीट नहीं किया जाता और बच्चों को दिए जाने वाले राशन में भी भारी गड़बड़ रहती है। आंगनवाड़ी केंद्रों का सालभर से अधिक समय से किराया नहीं दिया गया है और बच्चों के लिए खाना बनाने केे लिए केंद्रों में चुल्हा तो है पर कई महीनों से गैस सिलेंंडर नहीं है। यें आरोप लगाए हैं सभ्य समाज हरियाणा के प्रदेश प्रधान धर्मेंद्र अंगिरा ने।
उन्होने कहा है कि आंगनवाड़ी में काम करने वाली कार्यकर्ताओं का मानसिक शोषण किया जाता है। उनको अधिकारी किसी न किसी काम के नाम पर दबाव मेंं रखते हैं। उन्होने कहा कि सबसे अधिक चौंका देने वाला तथ्य तो यह है कि कई आंगनवाड़ी कार्यकताओं का तो कई महीनों से मानदेय भी रोका हुआ है और मोबाइल के लिए नेट का भुगतान भी पिछले चार महीनों से नहीं किया गया है। जबकि अधिकारी आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं पर मोबाइल एप से काम करने का दबाव बनाया जाता है।
इतना ही नहीं कार्यालय में बैठने वाली एक सक्षम अधिकारी का कहना है कि उपर बैठी उच्च अधिकारी को काम करने का पता नहीं है। प्रदेश प्रधान ने कहा कि कोई आंगनवाड़ी कार्यकर्ता अगर कोई सुविधा की मांग करती है तो उससे सालों पुराने रजिस्टर मांगे जाते हैं और उस पर दबाव बना कर उसे चुप करवा दिया जाता है। विभाग की सक्षम अधिकारी कार्यकर्ताओं को रजिस्टर के खेल में उलझा रही है।
उन्होने कहा कि चौंकाने वाली बात यह भी है कि आंगनवाड़ी कर्मचारियों की यूनियन कार्यकर्ताओं और हैैल्पर के हितो की रक्षा करने का दम भरती है। पर ऐसे मुद्दों पर यूनियन चुपी साधे रहती है। प्रदेश प्रधान अंगिरा ने कहा है कि अगले महीने मुख्यमंत्री मनोहरलाल भिवानी दौरे पर आ रहे हैं।आंगनवाड़ी केेंद्रों के अधिकारियों के कारनामों के बारे मेें मुख्यमंत्री को बता कर यंहा वर्षों से बैठी अधिकारियोंं के तबादलों की मांग की जायेगी।