
चंद्रमा-: मीन राशि में सायं 4/03 तक उसके बाद मेष राशि में
चंद्रमा-: मीन राशि में सायं 4/03 तक उसके बाद मेष राशि में
स्मरामि गणनाथमनाथबन्धुं सिन्दूरपूरपरिशोभितगण्डयुग्मम्। उद्दण्डविघ्नपरिखण्डनचण्डदण्ड- माखण्डलादिसुरनायकबृन्दवन्द्यम्॥
अर्थात-: मैं प्रात: काल गणों के स्वामी, जो अनाथों के बंधु हैं, उनका स्मरण करता हूँ. जिनके दोनों गाल सिन्दूर के लेप से सुशोभित हैं. जो प्रचंड दण्ड (छड़ी) द्वारा भयानक विघ्नों को पूरी तरह से तोड़ देते हैं
जय जय श्री राधे
IIआज का पंचांग एवं ग्रहों की स्थिति II
श्री गणेशाय नमः, जय श्री कृष्ण
सब सुखी व स्वस्थ रहें
विक्रम संवत 2082
संवत्सर नाम -: सिद्धार्थी
संवत्सर राजा-: सूर्य
संवत्सर मंत्री-: सूर्य
सूर्य दक्षिणायण, ऋतु-: शरद
सूर्य उदय : प्रातः 6/08
सूर्य अस्त : सायं 6/28
आश्विन मास कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि
अंग्रेजी दिनांक-: 10/9/2025
दिन-: बुद्धवार
चंद्रमा-: मीन राशि में सायं 4/03 तक उसके बाद मेष राशि में
राशि स्वामी-: गुरु/मंगल
आज का नक्षत्र -: रेवती सायं 4/03 तक उसके बाद अश्विनी
नक्षत्र स्वामी – : बुद्ध/केतु
✨️ चंद्रमा का नक्षत्र प्रवेश-:
प्रात: 5/05 से रेवती नक्षत्र चरण 3 में
10/34 से रेवती नक्षत्र चरण 4 में
सायं 4/03 से अश्विनी नक्षत्र चरण 1 में
रात्रि 9/32 से अश्विनी नक्षत्र चरण 2 में
योग-: रात्रि 8/32 तक वृद्धि योग-: यह एक बहुत शुभ योग है, किसी भी व्यापार को शुरू करने के लिए अत्यंत शुभ
आज के मुख्य पर्व/भद्रा/पंचक/गन्डमूल आदि
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– : तृतीया एवं चतुर्थी तिथि का श्राद्ध, गन्डमूल, श्री गणेश चतुर्थी व्रत, पंचक सायं 4/03 बजे से समाप्त
♻️आज की शुभ दिशा -: दक्षिण,पूर्व, दक्षिण-पश्चिम
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♻️ दिशा शूल -: उत्तर दिशा की ओर यात्रा करने से बचें, अति आवश्यक होने पर धनिया या तिल खाकर प्रस्थान करें
आज की ग्रह स्थिति -:
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सूर्य -: सिंह राशि (राशि स्वामी सूर्य) पूर्वा फाल्गुनी चरण 3 में ( नक्षत्र स्वामी शुक्र) प्रात: 5/04 से चरण 4 में
मंगल -: कन्या राशि (राशि स्वामी बुद्ध) चित्रा नक्षत्र चरण 2 में ( नक्षत्र स्वामी मंगल)
बुद्ध -: सिंह राशि (राशि स्वामी सूर्य) पूर्वा फाल्गुनी चरण 3 में ( नक्षत्र स्वामी शुक्र)
गुरु -: मिथुन राशि (राशि स्वामी बुद्ध) पुनर्वसु नक्षत्र चरण 2 में ( नक्षत्र स्वामी गुरु)
शुक्र -: कर्क राशि (राशि स्वामी चंद्र) आश्लेषा नक्षत्र चरण 3 में
शनि(वक्री) -: मीन राशि (राशि स्वामी गुरु)उत्तर भाद्रपद नक्षत्र चरण 1 में(नक्षत्र स्वामी शनि)
राहु-: कुंभ (राशि राशि स्वामी शनि)पूर्व भाद्रपद नक्षत्र चरण 2 में (नक्षत्र स्वामी गुरु)
केतु-: सिंह राशि( राशि स्वामी सूर्य) पूर्वा फाल्गुनी नक्षत्र चरण 4 में (नक्षत्र स्वामी शुक्र)
राहु काल -: दोपहर 12/00 से 1/30 बजे तक कोई शुभ या नया कार्य न करें
दैनिक लग्न सारणी -:
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प्रात-: 6/38 तक सिंह
8/54 तक कन्या
दोपहर 11/12 तक तुला
1/31 तक वृश्चिक
3/35 तक धनु
5/18 तक मकर
सायं 6/46 तक कुम्भ
रात्रि 8/10 तक मीन
9/46 तक मेष
11/41 तक वृष