आप नेता पूर्व सांसद अशोक तंवर ने पार्टी छोड़ी
तंवर 20 जनवरी को थामेंगे भाजपा का दामन!
सिरसा,19 जनवरी 2024। हरियाणा मेंं सिरसा के पूर्व सांसद एवं आम आदमी पार्टी चुनाव कैंपेन कमेटी हरियाणा के चैयरमेन डा. अशोक तंवर ने आज पार्टी को अलविदा कह दिया। पार्टी कन्वीनर एवं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को एक पत्र लिखकर अशोक तंवर ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता एवं अन्य पदों से पदच्युत करने का आग्रह किया है। तंवर ने पार्टी छोडऩे के पीछे ‘आप का इंडिया के साथ गठबंधन का होना बताया है। अशोक तंवर ने 4 अप्रैल 2022 को ‘आप को ज्वाइन किया था। सूत्रों के अनुसार अशोक तंवर 20 जनवरी को दिल्ली में एक सादे समारोह में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे पी नढ़ा व गृह मंत्री अमित शाह की मौजूदगी में भाजपा का दामन थामेंगे। भाजपा अशोक तंवर पर सिरसा लोकसभा सीट पर दांव खेल सकती है।
बता दें कि डा.अशोक तंवर ने वर्ष 2003 में छात्र जीवन के दौरान कांग्रेस पार्टी की छात्र इकाई एनएसयूआई व उसके बाद वर्ष 2005 में युवा कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष बने। यूथ कांग्रेस के चलते उन्हें राहुल गांधी के साथ काम करने का मौका मिला जिससे उनकी घनिष्टता भी बढ़ी। राहुल गांधी ने वर्ष 2014 में सिरसा लोकसभा सीट से प्रत्याशी बनाया ओर विजय मिली। इसके बाद पार्टी ने अशोक तंवर को हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी का अध्यक्ष बनाया। मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा व अशोक तंवर के बीच कुछ मुद्दों को लेकर छत्तीस का आंकड़ा बन गया। बात जुतमपैार तक पहुंच गई। 2019 के विधानसभा चुनाव में टिकट बंटवारे को लेकर अशोक तंवर व भूपेंद्र हुड्डा के बीच ठन गई। इसके बाद 5 अक्तूबर 2019 को अशोक तंवर ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तिफा दे दिया। पार्टी में अनेदखी का आरोप लगाते हुए दस जनपथ पर रोष प्रदर्शन तक कर डाला।
कांग्रेस छोडऩे के बाद अशोक तंवर ने अपना एक राजनीतिक दल खड़ा किया मगर थोड़े ही समय बाद तृणमूल कांग्रेस का दामन थाम लिया। पार्टी न गोवा मेें चुनाव का जिम्मा अशोक तंवर को सोंपा मगर कोई खास रिस्पांस नही मिल पाया। इसके बाद अशोक तंवर ने 4 अप्रैल 2022 को आम आदमी पार्टी का दामन थाम लिया। तंवर ग्रुप की सोच थी की अशोक तंवर को पार्टी पंजाब में भगवंत मान तर्ज पर हरियाणा में मुख्यमंत्री का चेहरा बनाएगी मगर ऐसा नहीं हुआ और पार्टी ने अपनी कार्यकारिणी गठित करते हुए अशोक तंवर को चुनाव कैंपेन कमेटी का चैयरमेन बना दिया। अशोक तंवर उसके बाद से पार्टी में घुटन महसूस कर रहे थे। पिछले सप्ताह हरियाणा केे मुख्यमंत्री मनोहर लाल व पूर्व सांसद अशोक तंवर के बीच दिल्ली के एक होटल में मिटिंग हुई। मिटिंग की चर्चाए अखबारों में हई तो मुख्यमंत्री ने इस मिटिंग को एक रूटिन की बात कहकर टाल दिया। आखिरकार आज उन्होंने पार्टी की प्राथकि सदस्यता से इस्तिफा दे दिया। आज अशोक तंवर कार्यालय के एक सदस्य द्वारा सोशल मिडिया पर पार्टी छोडऩे का पत्र वायरल किया गया। अशोक तंवर की भाजपा में इंट्री से सिरसा से मौजूदा सांसद सुनीता दुग्गल खेमें में चिंता पैदा कर दी है। बताया जा रहा है कि सांसद सुनीता दुग्गल ने पार्टी स्तर पर इसका विरोध भी दर्ज करवाया है।