
यात्रा: पूर्व, उत्तर, उत्तर‑पूर्व दिशाएं शुभ; पश्चिम से बचें या जौ/राई ग्रहण करें। धार्मिक गतिविधियाँ: पूजा‑पाठ, रथयात्रा आदि करने के लिए अत्यंत शुभ दिन है।
🕉 पंचांग (भारतीय समयानुसार)
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विक्रम संवत: 2082 (कालयुक्त), शक संवत 1947 विश्वावसु
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माह/पक्ष: आषाढ़ शुक्ल द्वितीया तिथि
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द्वितीया आरंभ: सुबह ~05:06–05:25
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समाप्त: लगभग दोपहर 11:19–11:20
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नक्षत्र: पुनर्वसु सुबह ~07:22–07:23 तक, तत्पश्चात पुष्य
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योग: व्याघात कलरात्रि ~21:10 तक
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करण: कौलव पहले, तत्पश्चात तैतिल
🌞 ग्रह गोचर
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सूर्य: मिथुन राशि में
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चंद्रमा: कर्क राशि में
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बुध: कर्क
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गुरु: मिथुन
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शुक्र: मेष
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मंगल व केतु: सिंह
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शनि: मीन
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राहु: कुंभ
🌄 उदय‑अस्त व चंद्रकाल
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सूर्योदय: लगभग 05:24–05:47 सुबह
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सूर्यास्त: लगभग 19:12–19:23 शाम
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चन्द्रोदय: लगभग 07:02–07:22 सुबह
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चन्द्रास्त: लगभग 21:18–21:25 रात
📅 राहु, गुलिक, यमघंट आदि
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राहुकाल: लगभग 10:39–12:23
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गुलिकाल: लगभग 07:09–08:55
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यमघंट काल: लगभग 15:53–17:38
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दुर्मुहूर्त: सुबह तथा दोपहर में दो समय (08:28–09:22 और 12:56–13:50)
🙏 शुभ मुहूर्त
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ब्रह्म मुहूर्त: ~04:38–05:20
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अभिजीत मुहूर्त: ~11:56–12:50
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गोधूलि मुहूर्त: सूर्यास्त के तुरंत बाद, लगभग 19:12–19:40
🚩 दिशाशूल
आज पश्चिम दिशा से यात्रा वर्जित है; यदि आवश्यक हो, तो जौ या राई ग्रहण कर प्रस्थान करें
🎉 विशेष तिथि और पर्व
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जगन्नाथ रथयात्रा आज पुरी में आरंभ हुई है
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यह गुप्त नवरात्रि का दूसरा दिन भी है—देवी ब्रह्मचारिणी की पूजा का दिन
🔹 संक्षेप सारणी
तत्व | समय / स्थिति |
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तिथि | शुक्ल द्वितीया (05:06–11:20 तक) |
नक्षत्र | पुनर्वसु (07:22–07:23), फिर पुष्य |
योग | व्याघात (रात्रि 21:10 तक) |
ग्रह स्थिति | सूर्य, गुरु मिथुन; चंद्र, बुध कर्क; शुक्र मेष; मंगल व केतु सिंह; शनि मीन; राहु कुंभ |
सूर्योदय–अस्त | 05:24–19:23 |
राहुकाल | 10:39–12:23 |
शुभ मुहूर्त | ब्रह्म: 04:38–05:20; अभिजीत: 11:56–12:50 |
दिशाशूल | पश्चिम यात्रा वर्जित |
पर्व | जगन्नाथ रथयात्रा, ब्रह्मचारिणी पूजा |
✅ सुझाव एवं उपयोग
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शुभ कार्य (विवाह, गृह‑प्रवेश, व्यापार आरंभ) ब्रह्म या अभिजीत मुहूर्त में करें, राहुकाल/दुर्मुहूर्त में से बचें।
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यात्रा: पूर्व, उत्तर, उत्तर‑पूर्व दिशाएं शुभ; पश्चिम से बचें या जौ/राई ग्रहण करें।
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धार्मिक गतिविधियाँ: पूजा‑पाठ, रथयात्रा आदि करने के लिए अत्यंत शुभ दिन है।
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व्यवसाय/नई शुरुआत: दिन का प्रारंभ शुभ मुहूर्त में करें, ग्रह स्थिति अनुकूल है।