मान लिया है कि हम रूस से तेल नहीं खरीदेंगें, परंतु भारत सरकार ने इस दावे का खण्डन किया है’’।
ऊर्जा मंत्री अनिल विज ने अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ब्यानों पर खडा किया सवाल, कहा- ‘‘कभी सपने भी सच्चे होते हैं!’’
‘‘मुझे ऐसा लगता है कि नरेन्द्र मोदी डोनाल्ड ट्रंप के सपनों में आते हैं’’- अनिल विज
डोनाल्ड ट्रंप प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से सपनों में बात करते हैं, फिर सुबह उठकर मीडिया में घोषणा कर देते हैं’’ – विज
भारत सरकार ने ट्रंप के भारत द्वारा रूस से तेल न खरीदने के दावे का खण्डन किया – विज
चण्डीगढ, 17 अक्तूबर- हरियाणा के ऊर्जा, परिवहन एवं श्रम मंत्री अनिल विज ने अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ब्यानों पर सवाल खडा करते हुए तंज किया कि कभी सपने भी सच्चे होते हैं! विज ने कहा कि ‘‘मुझे ऐसा लगता है कि नरेन्द्र मोदी डोनाल्ड ट्रंप के सपनों में आते हैं और डोनाल्ड ट्रंप प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से सपनों में बात करते हैं तथा फिर सुबह उठकर मीडिया में घोषणा कर देते हैं’’।
भारत सरकार ने इस दावे का खण्डन
विज अंबाला छावनी में मुख्यमंत्री ग्रामीण आवास योजना 2.0 (चरण-2) कार्यक्रम के उपरांत मीडिया कर्मियों द्वारा भारत के रूस से तेल न खरीदने के संबंध में अमेरिका के राष्ट्रपति द्वारा दिए गए ब्यान के संबंध में पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे।
ऊर्जा मंत्री ने मीडिया कर्मियों के सवाल का जवाब देते हुए कहा कि ‘‘एक बार फिर अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है कि मेरी भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ बात हुई है और उन्होंने मान लिया है कि हम रूस से तेल नहीं खरीदेंगें, परंतु भारत सरकार ने इस दावे का खण्डन किया है’’।
विज ने कहा कि ‘‘पहले भी आपरेशन सिंदूर के समय इस प्रकार से हो चुका है, जब ट्रंप ने कहा था कि मैंने समझौता कराया है, लेकिन भारत सरकार ने कहा कि हमारी इस बारे में कोई भी बातचीत नहीं हुई है’’।
पहले ऑपरेशन सिंदूर बारे भी ऐसा हो चुका है।
सुबह विज ने अपने एक्स हैंडल पर लिखा किः—‘‘एक बार फिर डोनाल्ड ट्रंप ने भारत के रूस से तेल न खरीदने बारे नरेंद्र मोदी से हुई बात का दावा किया है परन्तु भारत सरकार ने इसे नकार दिया है। पहले ऑपरेशन सिंदूर बारे भी ऐसा हो चुका है। मुझे लगता है कि नरेंद्र मोदी डोनाल्ड ट्रंप के सपनों में आते है और ट्रंप वहां नरेंद्र मोदी से बात कर लेते है और सुबह उठ कर मीडिया में घोषणा कर देते हैं। परन्तु सपने भी कभी सच होते हैं?
