दिल्ली, 10 दिसंबर 2025
कांग्रेस नेता राहुल गांधी 15 से 20 दिसंबर तक जर्मनी के दौरे पर रहेंगे। यह यात्रा राजनीतिक, सामाजिक और प्रवासी भारतीय समुदाय दोनों दृष्टियों से काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है। जर्मनी में उनके कार्यक्रम कई स्तरों पर फैले होंगे, जिनमें जर्मन सरकार के मंत्रियों से मुलाकात, भारतीय प्रवासी समुदाय के साथ संवाद और विदेश में भारत की भूमिका पर चर्चाएँ शामिल हैं। इस दौरे के दौरान राहुल गांधी न केवल भारत-जर्मनी संबंधों को मजबूत करने की कोशिश करेंगे, बल्कि यूरोप में बसे भारतीयों से जुड़ाव भी बढ़ाएंगे।
रिपोर्टों के अनुसार, राहुल गांधी के साथ भारतीय प्रवासी कांग्रेस की पूरी टीम होगी, जिसमें सैम पित्रोदा जैसे वरिष्ठ नेता भी शामिल हैं। दौरे का मुख्य उद्देश्य यूरोप में बसे भारतीयों के सामने भारत की राजनीतिक दिशा और कांग्रेस पार्टी की प्राथमिकताओं को स्पष्ट करना है। वे प्रवासी भारतीयों से उनकी चुनौतियों जैसे वीज़ा, रोजगार, सामाजिक समाकलन और भारतीय पहचान को संरक्षित रखने जैसे मुद्दों पर बातचीत करेंगे। 17 दिसंबर को बर्लिन में एक बड़ा कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा, जहां पूरे यूरोप से भारतीय प्रतिनिधि पहुंचेंगे। इस कार्यक्रम में राहुल गांधी भारतीय समुदाय को संबोधित करेंगे और उनकी समस्याओं तथा अपेक्षाओं को समझने की कोशिश करेंगे।
जर्मनी के मंत्रियों के साथ होने वाली मुलाकातों में आर्थिक सहयोग, तकनीकी साझेदारी, शिक्षा के अवसर और वैश्विक राजनीतिक परिस्थितियों पर चर्चा होने की उम्मीद है। भारत और जर्मनी लंबे समय से रणनीतिक साझेदार हैं, और इस यात्रा से दोनों देशों में संवाद और सहयोग को और गति मिल सकती है।
हालाँकि, यह दौरा राजनीतिक प्रतिक्रियाओं से मुक्त नहीं है। विपक्ष और सत्ताधारी पक्ष के बीच इसे लेकर बयानबाज़ी हो रही है, लेकिन इसके बावजूद विदेश में बसे भारतीयों में इस यात्रा को लेकर उत्साह दिख रहा है। कुल मिलाकर, यह दौरा भारत-जर्मनी संबंधों और भारतीय प्रवासी समुदाय के बीच विश्वास और सहयोग बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
