
-मानव आवाज की सक्रियता से ईडब्ल्यूए फ्लैट में 300 करोड़ से ज्यादा का घोटाला होने से बचा
-मानव आवाज के संयोजक अभय जैन एडवोकेट ने पीएम, सीएम को भेजी थी शिकायत
-14 एकड़ में बनाए गए 1088 फ्लैट अब रेनोवेट करके किए जाएंगे अलॉट
गुरुग्राम। हरियाणा के ईडब्ल्यूएस वर्ग के लोगों के लिए आशियाना स्कीम के तहत बनाए गए फ्लैट्स में मानव आवाज संस्था के संयोजक अभय जैन एडवोकेट के प्रयासों से गुरुग्राम में 300 करोड़ रुपये से ज्यादा का घोटाला होने से बच गया। उन्होंने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को शिकायत भेजी। शिकायत पर संज्ञान भी हुआ और अब वे ईडब्ल्यूडीएस फ्लैट्स संबंधित लोगों को आवंटित किए जाएंगें। इन फ्लैट्स के रेनोवेशन के लिए करीब 9 करोड़ रुपये मंजूर हो चुके हैं।
मानव आवाज संस्था के संयोजक अभय जैन एडवोकेट के मुताबिक, हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (एचएसवीपी) की ओर से यहां सेक्टर-47 में करीब 14 एकड़ जमीन पर 1088 फ्लैट ईडब्ल्यूएस वर्ग के लोगों के लिए बनाए गए थे। इनके निर्माण पर करीब 42 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे। वर्ष 2010 में हुड्डा सरकार के शासन में ये फ्लैट बनाए थे। खास बात यह है कि इन फ्लैट को भाजपा सरकार बनने के बाद वर्ष 2022 तक संबंधित लोगों को कब्जा नहीं दिया गया। सरकारों की उदासीनता के चलते ये फ्लैट समय के साथ डैमेज होते चले गए। इनका रखरखाव तक नहीं किया गया।
गरीबों का हक मारने की थी तैयारी: अभय जैन एडवोकेट
अभय जैन एडवोकेट ने बताया कि यह ना सिर्फ गरीबों का हक मारने की तैयारी थी, बल्कि बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार किया जाना था। उन्होंने मांग की है कि रिपेयर पर खर्च होने वाले करीब 9 करोड़ रुपये उन अधिकारियों से वसूले जाएं, जिनकी लापरवाही से ये फ्लैट 15 साल में भी अलॉट नहीं किए गए। अधिकारियों ने फाइलों में सरकार को यह दिखाया कि उन्हें इन फ्लैट के लिए गरीब लोग नहीं मिले, इसलिए ये अलॉट नहीं हो रहे। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार एक तरफ तो 50 लाख परिवारों को मुफ्त राशन देने की बात कह रही है और दूसरी तरफ अधिकारियों द्वारा 1088 गरीब लोग नहीं मिलने की बात कही गई। मानव आवाज के संयोजक अभय जैन एडवोकेट ने बताया कि हरियाणा में इस समय करीब 10000 फ्लैट हैं, जिन्हें अधिकारियों द्वारा अलॉट नहीं किया जा रहा। उन्होंने मांग की कि सरकार इसकी जांच कराकर इन्हें जल्द से जल्द अलॉट कराए, ताकि गरीबों को आशियाने मिल सके।
1000 फ्लैट तोडक़र अधिकारी, नेता, डेवेलपर को करना था घोटाला
इन फ्लैट्स को संबंधित लोगों को अलॉट करने की बजाय इन्हें गिराकर एक डेवेलपर को यह जमीन बेचने की तैयारी कर ली गई। अधिकारी, नेता, डेवेपलर को इसमें बड़ा घोटाला करना था। यहां सोसायटी विकसित करने के लिए डेवेलपर को 11 एकड़ जमीन की जरूरत थी। ऐसे में इन 1088 फ्लैट में से 11 एकड़ जमीन के 1000 फ्लैट को तोडक़र जमीन को समतल करने की तैयारी शुरू की गई। बाकी आधा एकड़ जमीन में 88 फ्लैट छोडऩे की बात कही गई। अभय जैन एडवोकेट के मुताबिक, सेक्टर-47 में दिल्ली पब्लिक स्कूल के पास प्राइम लोकेशन पर बने इन फ्लैट में 300 करोड़ से अधिक का घोटाला किया जाना था। उन्होंने इसे लेकर 11 जून 2024 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री हरियाणा को शिकायत भेजी थी। उनकी शिकायत पर पीएमओ की ओर से कड़ा संज्ञान लिया गया। संबंधित अधिकारियों से जवाब मांगा गया। आखिरकार सरकार की ओर से लिए गए संज्ञान पर अधिकारी भी बैकफुट पर आ गए हैं। निर्णय लिया गया है कि इन फ्लैट्स को तोड़ा नहीं जाएगा।
हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण ने रेनोवेशन का भेजा पत्र
अब इन फ्लैट को रेनोवेशन करके संबंधित लोगों को आवंटित किया जाएगा। पांच अगस्त 2025 को हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण डिवीजन-2 पंचकूला की ओर से टेक्नीकल सेंक्शन लेटर जारी किया गया है। सीसीएफ कार्यालय के सुप्रीटेंडिंग इंजीनियर के नाम के इस पत्र में आशियाना स्कीम फ्लैट सेक्टर-47 के स्पेशल रिपेयर के लिए कहा गया है। इसके लिए 881.70 लाख रुपये मंजूर किए गए हैं। एचएसवीपी द्वारा भेजे गए पत्र के अनुसार डेढ़ सौ दिन यानी पांच महीने में 1088 फ्लैट रिपेयर कर दिए जाएंगें।